उत्तराखंड: प्रदेशभर में अब 10 साल पुराने ऑटो-विक्रम पर लगेगी रोक

देहरादून। यदि आपके पास दस साल पुराने ऑटो-विक्रम हैं तो उसे बेचकर सीएनजी से चलने वाले ऑटो-विक्रम खरीदने की तैयारी कर लें। क्योंकि अगले साल 31 मार्च के बाद डीजल से चलने वाले 10 साल पुराने ऑटो-विक्रम कबाड़ मानें जाएंगे।दरअसल, राजधानी के अलावा हरिद्वार, ऋषिकेश, रुड़की में डीजल से चलने वाले दस साल पुराने ऑटो-विक्रम अगले साल 31 मार्च के बाद सड़कों से बाहर कर दिए जाएंगे। संभागीय परिवहन प्राधिकरण (आरटीए) की हुई बैठक में परिवहन विभाग की ओर से तैयार प्रस्ताव पर मोहर लग गई। बैठक में दून में प्रदूषण की बदहाल हो रही स्थिति पर पूर्व में शासन द्वारा अनुमोदित 18 स्टेट कैरेज रूटों पर पेट्रोल, बीएस वी-5, मानक सीएनजी, इलेक्ट्रिक सार्वजनिक वाहन के संचालन को लेकर निर्णय लिया गया। बाकी बचे सभी डीजल वाले ऑटो-विक्रम 31 दिसम्बर 2023 के बाद नहीं चलेंगे।
डीजल संचालित इन ऑटो-विक्रम की जगह सीएनजी की गाड़ियों का संचालन होगा। संभागीय परिवहन प्राधिकरण के अध्यक्ष व मंडलायुक्त सुशील कुमार की अध्यक्षता में हुई बैठक में दून में प्रदूषण की बदहाल हो रही स्थिति पर पूर्व में शासन द्वारा अनुमोदित 18 स्टेट कैरेज रूटों पर पेट्रोल, बीएस वी-5, मानक सीएनजी, इलेक्ट्रिक सार्वजनिक वाहन के संचालन को लेकर निर्णय लिया गया। राज्य में पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए राजाजी नेशनल रिजर्व में जंगल सफारी के लिए सफारी गाड़ियों के लिए अतिरिक्त परमिट देने पर भी सहमति बनी। ​वहीं निर्णय हुआ कि सभी ई-रिक्शा चालकों का भौतिक सत्यापन किया जाएगा।

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