उत्तराखंड: सरकारी कागजों में 42 साल पहले ‘मृत‘ बुजुर्ग कमिश्नर दरबार में बोले- जिंदा हूं साहब !

हल्द्वानी। आज मंगलवार को कुमाऊं कमिश्नर दीपक रावत के दरबार में एक ऐसा मामला सामने आया है, जिसे सुनकर वह भी हैरान रह गये। यहां एक फरियादी ने उनके दरबार में कहा, साहब मैं जिंदा हूं।
दरअसल कागजों में हरिकिशन बुधलाकोटी नाम के शख्स को मृत दिखाकर उसकी जमीन हड़प ली गई है। कमिश्नर ने हरिकिशन की पूरी बात सुनी और तहसीलदार को इस मामले में त्वरित कार्रवाई करने को कहा। यह मामला नैनीताल जनपद के कुश्या कुटौली तहसील का है। यहां के रहने वाले हरिकिशन (हरिकृष्ण) बुधलाकोटी जिन्हें तहसील और ग्राम पंचायत के कर्मचारियों द्वारा फर्जी तरीके से 1980 में मृत घोषित कर दिया गया था। वर्ष 2010 में हरिकिशन की मौत का फर्जी प्रमाणपत्र बनाकर उनकी नैनीताल के पंगोट स्थित जमीन को 2011 में भू माफिया ने खरीद लिया। तब से हरिकिशन अपनी जमीन पर हक के लिए सरकारी ऑफिसों के चक्कर काट रहे हैं। आज मंगलवार को बुधलाकोटी कुमाऊं कमिश्नर के दरबार में पहुंचे और उन्हें अपना दुखड़ा सुनाया।
हरिकिशन ने बताया कि रामनगर में तैनात वन विभाग के एक बड़े अधिकारी ने उनकी पंगोट स्थित 3 नाली जमीन को भूमाफिया से मिलकर खरीदा है। कुश्या कुटौली तहसील के कर्मचारियों की भी इसमें मिलीभगत है और तहसीलदार भी कोई कार्रवाई नहीं कर रहे हैं। उनके डेथ सर्टिफिकेट को पंचायत के अधिकारी और तहसील के कर्मचारियों की मिलीभगत से बनाया गया है। बुधलाकोटी ने बताया कि वो सरकारी दफ्तरों के चक्कर लगाते-लगाते थक चुके हैं। हरिकिशन की समस्या पर दीपक रावत ने तहसीलदार कुश्या कुटौली को पूरे मामले में निष्पक्ष जांच करने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि यह बेहद गंभीर मामला है और इसकी निष्पक्ष जांच कर दोषियों के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी।

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here