नई दिल्ली। शेयर बाजार में निवेश करने वालों के लिए जरूरी खबर है। शेयर बाजार में बढ़ती फ्रॉड की घटनाओं को देखते हुए मार्केट रेग्युलेटर सेबी ने कड़ा फैसला किया है। सेबी ने कहा है कि अब जितने भी निवेशक हैं उनके यूनिक क्लाइंट कोड यानी यूसीसी को पैन से लिंक कराना जरूरी होगा। अगर यह नहीं हो पाता है तो सभी के यूनिक क्लाइंट कोड यानी यूसीसी को कम से कम डीमैट से जरूर लिंक कराना होगा। सेबी का मानना है कि इससे शेयर बाजार में निवेशकों के साथ होने वाली धोखाधड़ी पर रोक लगेगी। कोई भी व्यक्ति जब शेयर ब्रोकर के यहां अपना ट्रेडिंग और डीमैट अकाउंट खोलता है तो उसको एक यूनिक क्लाइंट कोड (यूसीसी) एलाट किया जाता है। डिपॉजिटर्स को जारी की गाइडलाइन सेबी ने देश के स्टॉक एक्सचेंज ओर सभी डिपॉजिटर्स से एक नई व्यवस्था तैयार करने को कहा है। सेबी ने कहा है यूनिक क्लांट कोड को डीमैट से जोड़ने के डिपॉजिटर्स ऑनलाइन व्यवस्था तैयार करें।
सेबी ने कहा, अभी देश में बहुत सारे शेयर ब्रोकर्स हैं। कुछ लोग कई शेयर ब्रोकर्स के यहां अपने ट्रेडिंग और डीमैट अकाउंट खोलते हैं, इसको ध्यान में रखते हुए सेबी ने कहा है कि क्लाइंट या निवेशक को ट्रेडिंग मेंबर से मिले हुए यूसीसी को क्लाइंट के डीमैट अकाउंट से मैप करना होगा। वहीं क्लाइंट एक से ज्यादा टीएम के साथ ट्रेड कर सकता है, लेकिन यूसीसी की एक या एक से ज्यादा डीमैट अकाउंट से मैपिंग जरूरी है। सेबी ने स्टॉक एक्सचेंजेज और डिपोजिटर्स को यह भी निर्देश दिया कि इन-एक्टिव, नॉन-ऑपरेशनल यूसीसी का गलत इस्तेमाल नहीं हो। इसके लिये एक तंत्र भी विकसित करने को कहा है।
सेबी ने देश के शेयर ब्रोकर्स को पहली बार यह डाटा डिपोजिटर्स को देने के लिए 30 नवंबर 2019 तक का समय दिया है।