हल्द्वानी/बागेश्वर। नेशनल बॉक्सर और हल्द्वानी में एमबीपीजी कॉलेज की एमए द्वितीय सेमेस्टर की छात्रा हेमलता उर्फ हेमा दानू ने रविवार को जहर खा लिया और देर रात अस्पताल में दम तोड़ दिया। परिजनों के अनुसार हेमा ने रेफरी के गलत फैसले की बात कही थी और वह इस बात से बेहद आहत थी।
वह बागेश्वर जिले के कपकोट के बड़ेत (कफलानी) की रहने वाली थी और हल्द्वानी में ननिहाल में रहकर पढ़ाई कर रही थी। परिजनों ने पुलिस को बताया कि पिछले दिनों खटीमा में आयोजित मैच में हार के बाद वह तनाव में आ गई थी। उसने रेफरी के गलत फैसले की बात कही थी। परिजनों ने हेमा के जहर खाकर जान देने का अंदेशा जताया है।
कफलानी नाचनी कपकोट निवासी कृपाल सिंह की 20 वर्षीया बेटी हेमलता कुमाऊं विवि की नेशनल बॉक्सर थी। वह यहां छड़ायल स्थित ननिहाल में रहती थी। 10 सितंबर को वह खटीमा में हुई प्रतियोगिता के फाइनल मुकाबले में हार गई थी। रविवार को उसकी हालत बिगड़ने पर उसे नैनीताल रोड स्थित एक निजी अस्पताल में भर्ती कराया गया था जहां इलाज के दौरान रविवार देर रात डेढ़ बजे उसने दम तोड़ दिया।
काठगोदाम थाने की महिला उपनिरीक्षक लता खत्री ने परिजनों से पूछताछ की तो पता चला कि मैच हारने के बाद वह तनाव में थी। इसी कारण उसने जहर खा लिया था। आरोप है कि हेमलता रेफरी के गलत फैसले से तनाव में थी। लता के अनुसार वह पंजाब स्पोर्ट्स शिक्षण संस्थान से ट्रेनिंग ले रही थी।
एमबीपीजी कॉलेज के क्रीड़ा प्रभारी डॉ. पुष्कर गौड़ ने बताया कि हेमलता ने कुमाऊं विश्वविद्यालय की ओर से आयोजित अंतर विश्वविद्यालयी नेशनल बॉक्सिंग प्रतियोगिता में भाग लिया था। हेमलता ने 2016 में कोटद्वार में आयोजित राज्य स्तरीय मैच में स्वर्ण पदक जीता था। 2018 में उसने हरियाणा में आयोजित राष्ट्रीय स्तर के मैच में रजत पदक जीता था। हेमलता की मौत के बाद सोशल मीडिया पर मैच के परिणाम और रेफरी के गलत फैसले को लेकर काफी ट्रोल किया जा रहा है। लोग मैच के परिणाम की जांच की मांग कर रहे हैं। एमबीपीजी कॉलेज में शोकसभा कर हेमलता को श्रद्धांजलि दी गई। शोकसभा में प्राचार्य प्रो. बीआर पंत, डॉ. महेश कुमार, डॉ. एससी टम्टा, डॉ. पुष्कर गौड़. डॉ. नवीन शर्मा आदि मौजूद रहे।
हेमा दानू उभरती हुई बॉक्सर थी। हेमा ने कई राष्ट्रीय प्रतियोगिताओं में पदक जीतकर प्रदेश और जिले का नाम रोशन किया था। उनके निधन से समूचे कपकोट में शोक छा गया है। लोगों ने हेमा की मौत के लिए जिम्मेदार लोगों के खिलाफ कार्रवाई की मांग की है। कपकोट के समाजसेवी उमेश जोशी ने हेमा को होनहार खिलाड़ी बताते हुए कहा कि उसका असमय संसार से जाना सबको दुखी कर गया। इस मामले की गहनता से जांच होनी चाहिए, ताकि फिर कोई हेमा ऐसा कदम न उठाए।