वर्चुअल रैली में रक्षामंत्री ने त्रिवेंद्र सरकार की प्रशंसा के बांधे पुल!

‘उत्तराखण्ड जन संवाद’ में बोले राजनाथ

  • कोविड-19 के दृष्टिगत देवभूमि में किए गए काम के लिए मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत को दी बधाई
  • कहा, भराड़ीसैण में जो कोविड केयर सेंटर स्थापित हुआ है, केद्र से गई टीम ने भी की उसकी सराहना
  • किसानों के कल्याण के लिए उठाए कदम, बहुत उम्मीद से देखा जा रहा है कान्ट्रेक्ट फार्मिंग एक्ट 
  • किसानों के लिए बीज पर सब्सिडी को बढ़ाकर किया 75 प्रतिशत, गौरा देवी कन्याधन योजना भी प्रमुख 
  • स्थानीय युवाओं और घर लौटे प्रवासियों के लिये शुरू की गई है मुख्यमंत्री स्वरोजगार योजना
  • भ्रष्टाचार पर अपनाई जीरो टोलरेंस की नीति, गैरसैण में बनाई गई है ग्रीष्मकालीन राजधानी
  • अटल आयुष्मान योजना में बनाए जा चुके हैं 40 लाख गोल्डन कार्ड, इनके अलावा भी हुए बहुत सारे काम

देहरादून। वर्चुअल रैली ‘उत्तराखण्ड जन संवाद’ को संबोधित करते हुए केंद्रीय रक्षा मंत्री श्री राजनाथ सिंह ने कहा कि उत्तराखण्ड, देवभूमि और वीर भूमि है। परिश्रम और पराक्रम की धरती है। जब उत्तराखण्ड राज्य का निर्माण हुआ था तो वे संयुक्त उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री थे। उत्तराखण्ड के प्रत्येक क्षेत्र में उन्हें जाने का अवसर मिला है।
कोविड-19 के दृष्टिगत उत्तराखण्ड में किए गए काम के लिए मुख्यमंत्री श्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत को बधाई देते हुए कहा कि जितनी सराहना की जाए कम है। भराड़ीसैण में जो कोविड केयर सेंटर स्थापित हुआ है, उसकी सराहना केद्र से वहां गई टीम ने भी की है। उत्तराखण्ड तेजी से विकास के मार्ग पर बढ़ रहा है। किसानों के कल्याण के लिए कदम उठाए हैं। कान्ट्रेक्ट फार्मिंग के एक्ट को बहुत उम्मीद से देखा जा रहा है। किसानों के लिए बीज पर सब्सिडी को 50 प्रतिशत से बढ़ाकर 75 प्रतिशत किया है। गौरा देवी कन्याधन योजना भी प्रमुख कार्यक्रम है। पलायन को रोकने के लिए कई कदम उठाए हैं। स्थानीय युवाओं और घर लौटे प्रवासियों के लिए मुख्यमंत्री स्वरोजगार योजना शुरू की गई है। प्रवासियों को वापस लाने में सराहनीय काम किया गया है।
उत्तराखण्ड में इन्वेस्टर्स समिट का महत्वपूर्ण आयोजन किया गया। भ्रष्टाचार पर जीरो टोलरेंस की नीति अपनाई गई। गैरसैण में ग्रीष्मकालीन राजधानी बनाई गई है। अटल आयुष्मान योजना में 40 लाख गोल्डन कार्ड बनाए जा चुके हैं। काम बहुत सारे हुए हैं। प्रधानमंत्री जी के मार्गदर्शन में केदारनाथ पुननिर्माण का काम हुआ है। मानसरोवर के लिए अब बीआरओ ने लिपुलेख तक एक लिंक रोड़ का निर्माण कर दिया है। धारचूला-लिपुलेख मार्ग बनने से मानसरोवर के लिए एक अन्य मार्ग हो गया है जिससे इस यात्रा में 6 दिन का समय कम लगेगा।
केंद्रीय मंत्री ने वर्तमान सरकार के पिछले एक वर्ष में लिए गए महत्वपूर्ण निर्णयों की जानकारी देते हुए कहा कि इन 6 वर्षों मेंं देश ने काफी प्रगति की है। अंतर्राष्ट्रीय साख बढ़ी है। अर्थव्यवस्था को नौवें स्थान से 5 वें स्थान पर लाए हैं। देश में तेजी से प्रगति हो रही थी तब पूरे विश्व में कोविड-19 की चुनौति उत्पन्न हुई है। बहुत से विकसित देश पूरी तरह से प्रभावित हुए है। लेकिन प्रधानमंत्री जी ने जिस सूझबूझ के साथ कदम उठाए हैं, उसकी प्रशंसा पूरी दुनिया में हो रही है। स्वास्थ्य ढांचे को मजबूत किया गया है। पीपीई किट बड़ी संख्या में बना रहे हैं।
मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत ने कहा प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के दूसरे कार्यकाल के एक वर्ष में केन्द्र सरकार ने बड़े ऐतिहासिक फैसले लिए। देश के रक्षा क्षेत्र को मजबूत किया। धारा 370 और 35 ए को खत्म कर नया इतिहास लिखा। राम मंदिर निर्माण का मार्ग प्रशस्त किया गया एवं कैबिनेट में अनेक महत्वपूर्ण निर्णय लिये।
उन्होंने कहा कि मोदी जी द्वारा सही समय पर लिए गए सही निर्णय से भारत में कोरोना वायरस से उतना नुकसान नहीं हुआ जैसी कि सम्भावना जताई जा रही थी। लॉकडाउन से संक्रमण की दर को नियंत्रित किया गया। सम्पूर्ण देश में लॉकडाउन आसान निर्णय नहीं था। आज दुनिया प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी द्वारा लिए गये इस फैसले का अनुसरण कर रही है।  
मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश में राज्य सरकार ने तीन साल से अधिक का कार्यकाल पूर्ण कर लिया है। अपने घोषणा पत्र में हमने जनता से जो वायदे किये थे, उनमें से 85 प्रतिशत वायदे पूर्ण कर लिये हैं। चाहे वह जीरो टॉलरेंस की सरकार चलाने का हो या किसानों को ब्याजमुक्त ऋण उपलब्ध कराने का हो। पलायन को रोकने के लिए प्रदेश में ग्रामीण विकास एवं पलायन आयोग का गठन किया गया है। जिसके तहत प्रदेश के दूरस्थ क्षेत्रों से पलायन को रोकने के लिए अनेक प्रयास किये जा रहे हैं। हमने गैरसैंण को प्रदेश की ग्रीष्मकालीन राजधानी घोषित किया है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि कोविड-19 के दृष्टिगत लाखों प्रवासी राज्य में वापस लौटे हैं। उन प्रवासियों को रोजगार के अवसर प्रदान करने के लिए राज्य सरकार प्रयासरत है। उन्होंने कहा कि कोविड-19 से निपटने के लिए राज्य में धन का कोई अभाव नहीं है। कोरोना से बचाव के लिए राज्य सरकार ने पूरी तैयारी की है। कोविड केयर सेंटरों में 17 हजार बैड उपलब्ध हैं। प्रत्येक जनपदों में आईसीयू की व्यवस्था की गई है। वेंटिलेटर भी पर्याप्त मात्रा में उपलब्ध हैं। पिछले चार माह में प्रदेश में 400 डॉक्टरों की नियुक्ति की गई है।
त्रिवेन्द्र ने कहा कि कोरोना से बचाव के लिए हमें सामाजिक दूरी, मास्क का उपयोग, एवं स्वच्छता पर विशेष ध्यान देना होगा। मुख्यमंत्री ने कोरोना संक्रमित व्यक्ति की मृत्यु के पश्चात अंतिम संस्कार के लिए लोगों से मानवीय दृष्टिकोण रखने का आह्वान किया। उन्होंने कहा कि ऐसी स्थिति में सभी मानकों का पालन करते हुए पूरी सावधानी बरती जाती है, लोगों के मन में इसको लेकर कोई भी आशंका नहीं होनी चाहिए। हम मिलजुलकर कोरोना से लड़ेंगे और आगे बढ़ेंगे।  इस वर्चुअल रैली में वीडियो कांफ्रेंस के माध्यम से मानव संसाधन विकास मंत्री डॉ. रमेश पोखरियाल निशंक, सांसद अजय भट्ट, माला राज्यलक्ष्मी शाह, श्री तीरथ सिंह रावत, अजय टमटा, राज्यसभा सांसद अनिल बलूनी, कैबिनेट मंत्री मदन कौशिक, उच्च शिक्षा मंत्री डॉ. धन सिंह रावत, प्रदेश के भाजपा अध्यक्ष  बंसीधर भगत एवं भाजपा के नेता जुडे़ थे।  

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