तीन माह में 133 गांवों में एक भी बेटी पैदा न होने की जांच के आदेश

उठे सवाल

  • मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने उत्तरकाशी जिले के 133 गांवों में पैदा हुए 216 बच्चों एक भी बिटिया न होने के मामले में दिये जांच के आदेश
  • मुख्यमंत्री ने माना, निश्चित तौर पर चौंकाने वाले हैं आंकड़े, जिलाधिकारी उत्तरकाशी को पूरे मामले की पड़ताल कर तलब की स्टेटस रिपोर्ट 

देहरादून। मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने उत्तरकाशी जिले के 133 गांवों में गत तीन महीने में पैदा हुए 216 बच्चों में एक भी बिटिया का जन्म न होने के मामले में जांच का आदेश दिया है। मुख्यमंत्री ने माना है कि ये आंकड़े निश्चित तौर पर चौंकाने वाले हैं। उन्होंने जिलाधिकारी उत्तरकाशी को पूरे मामले की पड़ताल कर स्टेटस रिपोर्ट मांगी है।
गौरतलब है कि सरकारी आंकड़ों में इस स्थिति का खुलासा हुआ था कि तीन माह में उत्तरकाशी जिले के 133 ग्रामीण क्षेत्रों में पैदा हुए 216 बच्चों में केवल बेटों का जन्म हुआ। स्वास्थ्य विभाग ने जिले के हर गांव में होने वाले प्रसव का ब्योरा तैयार किया है। सरकारी रिपोर्ट में लिंगानुपात की इस स्थिति का खुलासा होने पर जिला प्रशासन भी हरकत में आ गया है और पड़ताल शुरू कर दी है। 
हालांकि ये स्थिति तब है जब केंद्र और प्रदेश सरकार कन्या भ्रूण हत्या निषेध को लेकर जागरूकता अभियान चला रही है। वहीं बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ अभियान से लिंगानुपात में और सुधार आने की उम्मीद जताई जा रही थी।
इस बारे में त्रिवेंद्र सिंह रावत ने बताया कि उत्तरकाशी जिले के 133 गांवों में पिछले तीन माह में जन्में 216 बच्चों में एक भी लड़की न होने की वस्तुस्थिति का पता लगाने के लिए जिलाधिकारी को निर्देशित किया गया है। ये आंकड़े चौंकाने वाले हैं। यह हमारे बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ अभियान के लिए भी चिंता का विषय है। 

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here