- हाईकोर्ट ने पूर्व मुख्यमंत्रियों की सुविधाओं पर खर्च की वसूली माफ करने के मामले में सरकार को दिये निर्देश
नैनीताल। हाईकोर्ट ने पूर्व मुख्यमंत्रियों से आवास भत्ता और अन्य सुविधाओं पर हुए खर्च को वसूल करने के उच्च न्यायालय के आदेश के बाद राज्य सरकार की ओर से इन खर्चों को माफ करने के लिए लाए गए अध्यादेश को चुनौती देने वाली जनहित याचिका पर मंगलवार को सुनवाई की।
हाईकोर्ट ने राज्य सरकार से कहा है कि अगर पूर्व मुख्यमंत्रियों को जारी नोटिस तामील हो गए हैं तो इसकी जानकारी शपथपत्र के माध्यम से 17 अक्तूबर को कोर्ट में पेश करें। सुनवाई के दौरान राज्य सरकार की ओर से कोर्ट को अवगत कराया गया कि पूर्व मुख्यमंत्रियों को कोर्ट से जारी नोटिस की तामीली हो गई है। मुख्य न्यायाधीश रमेश रंगनाथन एवं न्यायमूर्ति आलोक कुमार वर्मा की खंडपीठ के समक्ष मामले की सुनवाई हुई।
मामले के अनुसार देहरादून की रुलक संस्था ने इस अध्यादेश के खिलाफ दायर जनहित याचिका में कहा था कि राज्य सरकार ने अपनी शक्ति का दुरुपयोग कर पूर्व मुख्यमंत्रियों को व्यक्तिगत लाभ और सेवाएं देने के लिए यह अध्यादेश पास किया है जो असंवैधानिक है। याचिका में कहा गया कि सरकार ने यह अध्यादेश हाईकोर्ट के आदेश को ताक में रखकर पास किया है। हाईकोर्ट ने पूर्व मुख्यमंत्रियो से अभी तक का किराया व अन्य सुविधाओं की वसूली करने के आदेश दिए थे।