खुशखबरी : अब सभी नौकरियों के लिये देना होगा एक ही टेस्ट

मोदी कैबिनेट के अहम फैसले

  • विभिन्न सेक्टरों में नौकरी तलाश रहे करोड़ों युवाओं को मोदी ने दिया तोहफा
  • अब कॉमन एलिजिबिलिटी टेस्ट करवाने के लिए बनेगी नेशनल रिक्रूटमेंट एजेंसी
  • अभी 20 से ज्यादा केंद्रीय रिक्रूटमेंट एजेंसी, लेकिन सिर्फ 3 के एग्जाम कॉमन हो रहे
  • सरकार ने कहा- कॉमन टेस्ट होने से नौकरी तलाश रहे युवाओं को होगा फायदा
  • तीन साल के लिए वैलिड रहेगी कॉमन एंट्रेस टेस्ट की मेरिट लिस्ट  
  • जयपुर, गुवाहाटी और तिरुवनंतपुरम एयरपोर्ट को लीज पर देने की मंजूरी
  • गन्ने की कीमत चीनी मिलों से 10 रुपए बढ़ाकर की 285 रुपए प्रति क्विंटल  

नई दिल्ली। मोदी सरकार ने विभिन्न क्षेत्रों में नौकरी ढूंढ रहे युवाओं के लिए आज बुधवार को एक बड़ी सौगात दी है। मोदी कैबिनेट ने आज हुई बैठक में नैशनल रिक्रूटमेंट एजेंसी के गठन के प्रस्ताव को मंजूरी दे दी है।
सूचना एवं प्रसारण मंत्री प्रकाश जावड़ेकर ने आज बुधवार को हुई कैबिनेट के बाद फैसलों की जानकारी दी। उन्होंने कहा कि कॉमन एलिजिबिलिटी टेस्ट होने से नौकरी तलाश रहे युवाओं को फायदा होगा और उन्हें बार बार टेस्ट देने से निजात मिलेगी। उन्होंने कहा कि नौकरी के लिए युवाओं को बहुत परीक्षाएं देनी पड़ती हैं। 20 भर्ती एजेंसियां हैं, ऐसे में हर एजेंसी के लिए परीक्षा देने के लिए कई जगह जाना पड़ता है। अब नैशनल रिक्रूटमेंट एजेंसी (राष्ट्रीय भर्ती परीक्षा) कॉमन एलिजिबिलिटी टेस्ट लेगी। इससे करोड़ों युवाओं को लाभ मिलेगा।
उन्होंने कहा कि युवाओं की तरफ से यह सालों से मांग उठ रही थी, लेकिन यह नहीं हो रहा था। अब नैशनल रिक्रूटमेंट एजेंसी के गठने से उनकी परेशानी दूर होगी, उनका पैसा भी बचेगा और मानसिक स्वास्थ्य भी ठीक रहेगा। बहुत दौड़-धूप नहीं करनी होगी और एक ही परीक्षा से युवाओं को आगे जाने का मौका मिलेगा। मंत्री जितेंद्र सिंह ने कहा कि कॉमन एंट्रेस टेस्ट की मेरिट लिस्ट 3 साल के लिए वैलिड रहेगी। इस दौरान कैंडिडेट अपनी योग्यता और प्राथमिकता के हिसाब से अलग-अलग सेक्टर में नौकरियों के लिए आवेदन कर सकेंगे। यह एक ऐतिहासिक रिफॉर्म है। इससे भर्तियां, सेलेक्शन और जॉब प्लेसमेंट आसान होगा। समाज के उन तबकों का जीवन आसान होगा जो कम सुविधाओं के साथ रह रहे हैं।
कैबिनेट के अन्य फैसले : चीनी मिलों की ओर से गन्ना किसानों के मिलने वाली कीमत 10 रुपए बढ़ाकर 285 रुपए प्रति क्विंटल की गई। डिस्कॉम्स को उनकी वर्किंग कैपिटल लिमिट से ज्यादा लोन देने के लिए पावर फाइनेंस कॉरपोरेशन और रूरल इलेक्ट्रिफिकेशन कॉरपोरेशन को एक बार छूट दी जाएगी। जयपुर, गुवाहाटी, तिरुवनंतपुरम, लखनऊ, अहमदाबाद और मैंगलुरू को ऑपरेट करने के लिए पिछले साल फरवरी में अडाणी ग्रुप की बोली मंजूर हुई थी। अहमदाबाद, मैंगलुरू और लखनऊ एयरपोर्ट के लिए एयरपोर्ट अथॉरिटी ऑफ इंडिया और अडाणी एंटरप्राइजेज के बीच इस साल फरवरी में एग्रीमेंट हो चुका है।

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