अमरनाथ गुफा के पास बादल फटने से 16 लोगों की मौत, 40 तीर्थयात्री लापता 

जम्मू-कश्मीर। अमरनाथ गुफा के पास बादल फटने के बाद जम्मू संभाग के डोडा जिले में बादलों ने भारी नुकसान पहुंचाया है। सुबह करीब चार बजे डोडा गुंटी वन क्षेत्र में बादल फटने से ठठरी के ठठरी कस्बे में बाढ़ आई। जनहानि की अभी तक कोई सूचना नहीं है। वहीं जम्मू-कश्मीर के अनंतनाग जिले में स्थित पवित्र अमरनाथ गुफा क्षेत्र में बादल फटने से 16 लोगों की मौत हो गई। 40 तीर्थयात्री लापता है सेना ने शनिवार सुबह रेस्क्यू ऑपरेशन शुरू कर दिया। जिसमें 6 लोगों को एयरलिफ्ट किया गया है। जल सैलाब मे बहे लोगों की तलाश के लिए रेस्क्यू ऑपरेशन जारी है। शुक्रवार की देर रात तक राहत और बचाव कार्य चलता रहा।

अमरनाथ गुफा के पास पिछले 12 वर्षों में तीन बार अमरनाथ यात्रा के दौरान बादल फटने की घटनाएं हो चुकी हैं, लेकिन कभी भी इतनी तबाही नहीं हुई। ऐसा पहली बार हुआ है कि बादल फटने से इतने लोगों की जान चली गई और अब भी कई लापता हैं। अमरनाथ यात्रा में तैनात कुछ अफसरों ने बताया कि सब कुछ सामान्य चल रहा था। एकदम से एक आवाज आई और इतनी तबाही मच गई।

प्रशासन के साथ-साथ एनडीआरएफ और एसडीआरएफ की टीम राहत-बचाव कार्य में जुट गई है। पीएम मोदी और गृह मंत्री अमित शाह ने एलजी मनोज सिन्हा से हालात की जानकारी ली है। हेल्पलाइन नंबर जारी किए गए हैं। फिलहाल यात्रा रोक दी गई है।
एनडीआरएफ हेल्पलाइन- 01123438252, 01123438253, 919711077372 कमांड सेंटर हेल्पलाइन- 01942496240, 01942313149 जम्मू कश्मीर एसडीआरएफ- 911942455165, 919906967840 अमरनाथ यात्रा हेल्पलाइन- 01912478993

सीएमओ गांदरबल डॉ. अफरोजा शाह ने बताया कि फिलहाल सभी घायलों का तीनों बेस अस्पतालों में इलाज चल रहा है। ऊपरी पवित्र गुफा, निचली पवित्र गुफा, पंजतरणी और आसपास की अन्य सुविधाएं ली जा रही हैं। घायल मरीजों के बेहतर इलाज की व्यवस्था की गई है। आईटीबीपी की तरफ से बताया गया कि बाढ़ की वजह से पवित्र गुफा क्षेत्र के पास फंसे अधिकांश श्रद्धालुओं को पंजतरणी में भेज दिया गया है। आईटीबीपी ने अपने मार्ग खोलकर निचली पवित्र गुफा से पंजतरणी तक बढ़ा दिया है। कोई भी श्रद्धालु ट्रैक पर नहीं रह गया है। करीब 15,000 लोगों को सुरक्षित भेजा गया है।

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